पढ़ाई और जीवन में क्या अंतर है? स्कूल में आप को पाठ सिखाते हैं और फिर परीक्षा लेते हैं. जीवन में पहले परीक्षा होती है और फिर सबक सिखने को मिलता है. - टॉम बोडेट

Monday, November 9, 2009

छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने चार जजों को बर्खास्त किया।



छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने अलग-अलग जिलों के चार सिविल जजों को राज्य शासन के विधि विभाग ने बर्खास्त कर दिया है। परिवीक्षा अवधि में कार्य संतोषजनक नहीं पाए जाने पर हाईकोर्ट ने शासन से इन जजों की बर्खास्तगी की अनुशंसा की थी। हाईकोर्ट के इंचार्ज रस्ट्रि।र जनरल द्वारा जारी आदेश के अनुसार कोरबा जिले के करतला में सिविल जज वर्ग-2 के पद पर पदस्थ सत्येन्द्र कुमार मिश्रा, बीजापुर जिला दक्षिण बस्तर में पदस्थ सिविल जज वर्ग-2 श्रीमती श्रद्धा आकाश श्रीवास्तव, जिला दुर्ग के नवागढ़ में पदस्थ सिविल जज वर्ग-2 यशपाल सिंह टंडन व जिला दुर्ग में पदस्थ सप्तम व्यवहार न्यायधीश वर्ग-2 कु. द्वारिका तिड़के को सेवा से बर्खास्त कर दिया गया है।

परिवीक्षा अवधि में इनका कार्य संतोषजनक नहीं पाए जाने पर हाईकोर्ट ने राज्य शासन से इनके विरुद्ध कार्रवाई की अनुशंसा की थी। इन सभी का चयन पीएससी द्वारा आयोजित सिविल जज की परीक्षा के माध्यम से हुआ था। प्रदेश में जजों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई मानी जा रही है। कार्रवाई की जानकारी हाईकोर्ट की वेबसाइट में भी प्रदर्शित कर दी गई है।

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