पढ़ाई और जीवन में क्या अंतर है? स्कूल में आप को पाठ सिखाते हैं और फिर परीक्षा लेते हैं. जीवन में पहले परीक्षा होती है और फिर सबक सिखने को मिलता है. - टॉम बोडेट

Wednesday, June 2, 2010

आयुसीमा पार अभ्यर्थियों को परीक्षा में शामिल करने के आदेश

राजस्थान हाईकोर्ट ने अधिकतम आयु सीमा पार कर चुके अभ्यार्थियों को अंतरिम रूप से अपर जिला न्यायाधीश की लिखित परीक्षा में शामिल करने के आदेश देते हुए न्यायालय के रजिस्ट्रार जनरल एवं विधि सचिव से जवाब तलब किया है।

न्यायाधीश प्रेमशंकर आसोपा एवं एन के जैन ने जुगलकिशोर एवं अन्य की याचिका पर आज यह आदेश दिया। अधिवक्ता राजेन्द्र प्रसाद ने न्यायालय को बताया कि उच्च न्यायालय ने अतिरिक्त जिला न्यायाधीशों के रिक्त पद विज्ञापित किए।

उसमें उपरी आयु सीमा में छूट को विज्ञापित नहीं किया जबकि एडीजे भर्ती संबंधी नियमों में यह प्रावधान है कि जिस साल इस पद की भर्ती परीक्षा नहीं होगी और उस साल कोई अभ्यार्थी आयु सीमा में हो तो उसे जब भी भर्ती परीक्षा होगी, ऊपरी आयुसीमा में छूट दी जाएगी।

इस आधार पर कई अभ्यार्थियों ने आवेदन कर दिया था लेकिन उच्च न्यायालय ने 245 अभ्यार्थियों के आवेदन पत्र खारिज कर दिए। इस आदेश को न्यायालय में यह कहते हुए चुनौती दी गई कि एडीजे भर्ती परीक्षा नियम 33 के तहत वे योग्य है और उनका प्रार्थना पत्र गलत तरीके से रद्द किया गया है।

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