सर्वोच्च न्यायालय ने सोमवार को "भोपाल मेमोरियल हॉस्पिटल ट्रस्ट" के अध्यक्ष पद से पूर्व प्रधान न्यायाधीश ए.एम. अहमदी का इस्तीफा स्वीकार कर लिया। न्यायालय ने 1984 में हुई भोपाल गैस त्रासदी के पीडितों के लिए बनाए गए अस्पताल का प्रभार लेने की केंद्र सरकार की अर्जी मंजूर कर ली। प्रधान न्यायाधीश एस.एच.कपाडिया की अध्यक्षता वाली पीठ ने केंद्र सरकार से ट्रस्ट को समाप्त करने के लिए कदम उठाने को कहा है।
न्यायालय ने अहमदी द्वारा दी गई सेवाओं की भी सराहना की। अटॉर्नी जनरल गुलाम वाहनवती ने अदालत में कहा कि सरकार ने अस्पताल का प्रभार लेने का निर्णय लिया है।
उल्लेखनीय है कि कुछ समय पहले अहमदी ने सर्वोच्च न्यायालय से कहा था कि उन्हें ट्रस्ट की जवाबदेही से मुक्त किया जाए। ट्रस्ट के अध्यक्ष पद पर उनकी नियुक्ति सर्वोच्च न्यायालय ने 12 वर्ष पहले की थी।
न्यायालय ने अहमदी द्वारा दी गई सेवाओं की भी सराहना की। अटॉर्नी जनरल गुलाम वाहनवती ने अदालत में कहा कि सरकार ने अस्पताल का प्रभार लेने का निर्णय लिया है।
उल्लेखनीय है कि कुछ समय पहले अहमदी ने सर्वोच्च न्यायालय से कहा था कि उन्हें ट्रस्ट की जवाबदेही से मुक्त किया जाए। ट्रस्ट के अध्यक्ष पद पर उनकी नियुक्ति सर्वोच्च न्यायालय ने 12 वर्ष पहले की थी।
0 टिप्पणियाँ:
Post a Comment