हल्दीराम भुजियावाला की प्रतिष्ठित खाद्य पदार्थ श्रृंखला के मालिक प्रभुशंकर अग्रवाल और चार हिस्ट्रीशीटरों को षडयंत्र और हत्या के प्रयास के लिए अदालत ने दोषी ठहराया है। सजा की घोषणा 29 जनवरी को होगी। कोलकाता के बड़ा बाजार में हल्दीराम की दुकान के सामने स्थित चाय की दुकान के मालिक ने इन सभी के खिलाफ हत्या के प्रयास का मामला दर्ज कराया था।
गौरतलब है कि प्रभुशंकर अग्रवाल बड़ा बाजार में एक फूड प्लाजा का निर्माण करवाना चाहते थे। लेकिन उस भूखंड के ठीक सामने सत्यनारायण शर्मा की चाय की दुकान थी। वह अपनी दुकान को हटाने को राजी नहीं हुआ। 30 मार्च, 2005 को हिस्ट्रीशीटर गोपाल तिवारी ने घर में घुसकर सत्यनारायण के भतीजे प्रमोद शर्मा को करीब से गोली मार दी। संयोगवश वह बच गया। गोली उसके पैर में लगी थी। प्रमोद की शिकायत पर पुलिस ने प्रभुशंकर अग्रवाल को गिरफ्तार किया था। पूछताछ के दौरान वारदात में हिस्ट्रीशीटर गोपाल तिवारी, राजा सोनकर, मनोज ठाकुर और अरुण खंडेलवाल शामिल पाए गए। बाद में अग्रवाल को जमानत पर रिहा कर दिया गया था। जस्टिस तपन सेन की फास्ट ट्रैक कोर्ट ने बुधवार को मामले की सुनवाई के दौरान पांचों को दोषी पाया।
गौरतलब है कि प्रभुशंकर अग्रवाल बड़ा बाजार में एक फूड प्लाजा का निर्माण करवाना चाहते थे। लेकिन उस भूखंड के ठीक सामने सत्यनारायण शर्मा की चाय की दुकान थी। वह अपनी दुकान को हटाने को राजी नहीं हुआ। 30 मार्च, 2005 को हिस्ट्रीशीटर गोपाल तिवारी ने घर में घुसकर सत्यनारायण के भतीजे प्रमोद शर्मा को करीब से गोली मार दी। संयोगवश वह बच गया। गोली उसके पैर में लगी थी। प्रमोद की शिकायत पर पुलिस ने प्रभुशंकर अग्रवाल को गिरफ्तार किया था। पूछताछ के दौरान वारदात में हिस्ट्रीशीटर गोपाल तिवारी, राजा सोनकर, मनोज ठाकुर और अरुण खंडेलवाल शामिल पाए गए। बाद में अग्रवाल को जमानत पर रिहा कर दिया गया था। जस्टिस तपन सेन की फास्ट ट्रैक कोर्ट ने बुधवार को मामले की सुनवाई के दौरान पांचों को दोषी पाया।
1 टिप्पणियाँ:
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