खाप पंचायतों की महापंचायत ने समान गौत्र में शादी का विरोध और इस विवाद में मौत के घाट उतारे गए दंपत्ति मनोज-बबली के हत्यारों का समर्थन करने का फैसला किया है।
हत्यारों को फांसी की सजा से बचाने के लिए महापंचायत चंदा जुटाएगी और सजा के खिलाफ अपील करने के लिए कोई ब़डा वकील ख़डा करेगी। मनोज-बबली प्रकरण में आरोपियों को फांसी को सजा जुनाए जाने के बाद सकते में खाप पंचायतों के प्रतिनिधि मंगलवार को यहां इस मुद्दे पर विचार करने के लिए जाट धर्मशाला में जुटे थे। इसमें देशभर की विभिन्न राज्यों की खाप पंचायतों के करीब सात हजार प्रतिनिधियों ने भाग लिया। पंचायतों के सदस्यों ने यह मांग की है कि हरियाणा सरकार को हिंदू मैरिज एक्ट में बदलाव करने के लिए चिट्ठी लिखी जाए ताकि सगौत्र में शादी पर प्रतिबंध लग सके। अपनी मांगों को लेकर कुछ सदस्य दिल्ली-चंडीगढ़ के बीच जीटी रोड जाम करने के लिए रवाना भी हो गए जबकि कुछ सदस्य जाम जैसा कदम उठाने के पक्ष में नहीं थे।
महापंचायत का यह भी रूख था कि पंचायतें मौत का फरमान या पति-पत्नी को भाई-बहन घोषित करने जैसे फरमान न सुनाए जाएं। प्रतिनिधियों का मानना था कि इससे पंचायत की छवि खराब होती है। इस मुद्दे पर जमकर बहस हुई और नौबत मारपीट तक भी आ गई। एक गुट चाहता था कि मौत का फरमान जारी रहे जबकि दूसरा गुट इसे खत्म करना चाहता था। ऎसे में महापंचायत इस मुद्दे पर कोई फैसला नहीं ले सकी।
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