राजस्थान सरकार ने गरीबों को विधिक सहायता उपलब्ध कराने के लिये पात्र व्यक्ति की वार्षिक आय की अधिकतम सीमा २५ हजार से बढ़ा कर ५० हजार रूपये करने का निर्णय लिया है ।आज मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की अध्यक्षता में सम्पन्न राज्य मंत्रिपरिषद की बैठक में यह निर्णय लिया गया । इस निर्णय से गरीब एवं कमजोर वर्गों के लोगों को नि:शुल्क विधिक सेवा का मार्ग प्रशस्त होगा । सरकारी सूत्रों के अनुसार इसके लिये राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण नियम १९९५ के नियम १६ में संशोधन किया जायेगा ।
Thursday, June 18, 2009
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