
जिला कलेक्टरों को हर माह की 5 तारीख को अपनी रिपोर्ट भेजनी होगी। इस रिपोर्ट में उन्हें यह बताना होगा कि एक माह में कुल कितने दौरे किए, कितने रात्रि विश्राम किए और कितने लोगों की समस्याएं सुनकर उनका समाधान किया गया। मुख्यमंत्री ने जन सुनवाई के लिए 2.30 से 3.30 बजे का समय निर्धारित किया है। इस समय में कलेक्टर अपने कक्ष में ही जनता की समस्याएं सुनेंगे। ताकि दूर से आने वाले ग्रामीण समस्या बताकर समय से गांव लौट सकें।
कुछ समय से मुख्यमंत्री निवास पर होने वाली जन सुनवाई में फरियाद लेकर आने वालों की संख्या में इजाफा हो रहा है। रोजाना सैकड़ों लोग आ रहे थे। इससे लगा कि जिला स्तर पर कोई सुनवाई नहीं हो रही है। इसलिए सीएम ने सुनवाई के निर्देश दिए। कलेक्टर कांफ्रेंस में भी यह मुद्दा उठा था कि अधिकारी लोगों की समस्याएं का समाधान नहीं कर रहे हैं। स्थानीय स्तर पर ही समस्याओं का समाधान हो जाए तो लोगों को सीएम तक नहीं आना पड़े।
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